राज सिंह's Album: Wall Photos

Photo 4 of 15 in Wall Photos

ध्यान दीजिए टीवी पर महाभारत, रामायण सीरियल चल रहे हैं। किन्तु क्या कभी आपने उनमें किसी वीर की लड़ते हुए मृत्यु होने पर "शहीद", क्या आपने ये सुना अभिमन्यु

कौरवों से लड़ते हुए #शहीद हो गए ??.

क्या ये सुना कर्ण ने अपने मित्र के लिए लड़ते हुए #शहादत दे दी ??..

नही ना ??.. क्योंकि शहीद जैसा कोई शब्द सनातन में हैं ही

नहीं..

शहीद एक अरबी+फ़ारसी शब्द हैं। जिसका अर्थ है मज़हब के लिए अल्लाह के लिए "कुर्बान" होना। जिहाद करते हुए मरना। इसका वर्णन 'आसमानी किताब' कुरान के सुरा न.57 आयात न.19 में भी दिया गया है। मातृभूमि हेतु जान देने की कोई अवधारणा इस मजहब में नही हैं।

ये एक कौमिय शब्द हैं। जिसे जानबूझकर वामपंथियो ने संवैधानिक शब्दावली में डाल दिया।

संवैधानिक पदों पर बैठे लोगों की मजबूरी हैं। परन्तु आप लोगो की क्या मजबूरी हैं जो आज भी आप धडल्ले से शहीद, शहादत शब्दों का प्रयोग कर रहे हैं।

गलवान घाटी में वीरगति को प्राप्त देश लिए सर्वोच्च बलिदान देने वाले सैनिकों के लिए आप लोग धड़ल्ले से वही शहीद, शहादत शब्दो का प्रयोग कर रहे हैं। शिकारी आएगा, जाल फैलाएगा, जाल में मत फँसना.. जाल के अंदर फंसा कबूतरी राग।

एक तरफ आप लोग उनके पूर्ण आर्थिक बहिष्कार की मुहिम चलाते हैं... लेकिन वही दूसरी तरफ आप उनके एक कौमिय शब्द को अपनी शब्दावली से पूर्ण बहिष्कृत तक नही कर पाते। पता नही सनातन समाज में कब जागृति आएगी....

इसकी जगह आप वीरगति को प्राप्त लिख सकते है बलिदान शब्द का प्रयोग कर सकते है एवं शहीद के स्थान पर हुतात्मा भी लिख सकते है। साभार