ईरान पर इजराइली हमला अबतक के सबसे बड़े साइबर अटैक का पलटवार था जो ईरान ने अप्रैल में किया था ... जिसमें लक्ष्य उस वाटर फ़िल्टर प्लांट को बनाया गया जिससे समुद्र के खारे पानी को मीठा कर पूरा इज़राइल पानी पीता है .....!
इस साइबर हमले में उस वॉटर प्लांट में ट्रीटमेंट के दौरान मिलाए जाने वाले क्लोरीन की मात्रा को बढ़ाना था, जिससे सैकड़ो इजराइली नागरिक मारे जाते और इस प्लांट के समस्त लाइन को साफ करने में महीनों लग जाते ....
जिससे इजरायल और इजराइली विकट परिस्थितियों में पहुँच जाते जिसमें लाखों की मात्रा में जाने जाती, जिसे अंतिम समय में इजराइल की साइबर सुरक्षा फोर्स द्वारा रोक दिया गया ...!
यह इजरायल का सौभाग्य और उनकी सतर्कता ही थी कि ऐसे अकल्पनीय साइबर हमले को हरा दिया गया, इसी की परिणीति थी इजरायल द्वारा ईरान पर F35 से हमला कर ईरान के समस्त मिसाइल, मिसाइल प्रणाली और उनके निर्माण केंद्रों को ध्वस्त किया एवं ईरान पर उसके परमाणु कार्यक्रम पर साइबर अटैक कर ईरान के पूरे परमाणु कार्यक्रम को समाप्त कर दिया .....!
ऐसी घृणित सोच है आज इन कट्टर देशो की हो चुकी और इस तकनीकी युग में युद्ध करने की प्रणाली और परम्पराएँ बदल गई ....!
इससे पूर्व भी चीन द्वारा सम्पूर्ण विश्व को कोरोना जैसे जैविक हमले का सामना करना पड़ रहा है,विश्व कहा जा रहा है ..!