हमे सिर्फ इस्लामिक स्थापत्य पढ़ाई गयी, यह देखिये हजारो वर्ष पहले पहाड़ को काटकर कैसे अद्भुत भव्य मंदिर का निर्माण करवाया गया है । हमने आधुनिक काल मे भी ऐसा कौई चमत्कार नही किया है।
पहाड़ो को काटना, उसी पहाड़ो की सरंचना से पिल्लर तैयार करना, उसमे फिर नक्काशी भी निकालना, उन्ही पहाड़ो से फिर मूर्तिया भी बनाना, लेकिन पहाड़ो को कोई नुकसान भी नही होना, ओर सबसे बड़ी बात, आजतक इनका जैसा बनाया था, वैसा का वैसा सुरक्षित रहना ....
यह क्या विश्व का सबसे बड़ा आश्चर्य नही है ???
निवेदन - हमारी संस्कृति और कला का जन जन तक प्रचार करना हमारा ही कर्तव्य है ।