यह काल जो यहाँ का 21 ब्रह्मण्ड का भगवान (ब्रह्म) है तथा जो ब्रह्मा, विष्णु, महेश का पिता है। ये तो मेरे कबीर साहेब का आटा पीसता है अर्थात पक्का नौकर है और जौरा (मौत) मेरे कबीर परमेश्वर का पानी भरती है अर्थात् एक विशेष नौकरानी है। यह दो असल मजदूर मेरे कबीर परमेश्वर के दरबार में है।