#ऋषि_गौतम की पत्नी #अहिल्या से बलात्कार किया ...#इंद्रदेव ने..फिर भी पूजनीय....क्यूँ???
#राजा_पाण्डु ने #माधुरी से बलात्कार किया...उसका दहन नहीं...कोई सजा नहीं....क्यों????
#ऋषि_पराशार ने केवट की पुत्री #सत्यवती से बलात्कार किया....उसका बहिष्कार क्यों नहीं....
#बृहस्पति की पत्नी #तारा का #चंद्र ने अपहरण कर बलात्कार किया...(देखा जाए तो बलात्कारी को देख कर करवाचौथ की पूजा की जाती है..जाने किस मंशा से??)
#ब्रह्मा ने अपनी #पुत्री #वाच से जबरन सहवाह किया और पुत्री #सरस्वती से जबरन विवाह कर हमेशा के लिए बलात्कार का अधिकार पा लिया....(ऐसा आराद्धय मुँह के जनों का ही हो सकता है...
#नरक के राजा की रानियों से #कृष्ण का विवाह और #मामा_अनय की पत्नी से शारीरिक संबंध......फिर भी पूजनीय है पता नहीं क्यूँ(आज अगर कोई किसी के कपड़े चुरा कर भागे तो उसके शरीर पर कपड़े नहीं बचेंगे)
#भीष्म ने #अम्बा, #अम्बिका और #अम्बालिका का अपहरण किया ताकि नियोग द्वारा बच्चा पैदा किया जा सके....(ये भी बलात्कार का ही रूप है)...फिर काहे के पितामह????
#राम के पूर्वज #राजा_दण्ड ने #शुक्राचार की पुत्री #अरजा के साथ बलात्कार किया...(यानी राम एक बलात्कारी के वंशज थे)
#वायु_देवता ने #महर्षि #कुशनाभ की कन्याओं से बलात्कार की कोशिश की....
जब हमारे शास्त्रों में बलात्कार को इतनी सहजता से स्वीकार कर लिया गया है तो कैसे समाज से यह कोढ़ खत्म हो पाएगा???
.....जब आपके ग्रंथों में बलात्कार को भी महिमामंडित किया जाता है तो कैसे संभव है बलात्कार का आज के जमाने में रोक पाना????
क्योंकि बलात्कार को शक्ति और सक्षमता से जोड़ कर दिया गया है......शायद इसीलिए आज भी गाँव में बलात्कारी से ही विवाह का फरमान सुना दिया जाता है....
मुझे शर्म आती है ऐसे ग्रंथों में दर्ज शर्मशार कर देने वाले व्याख्यानों से....