उड़ें जब जब ज़ुल्फ़ें तेरी
हो, उड़ें जब जब ज़ुल्फ़ें तेरी
कुँवारियों का दिल मचले
जिन्द मेरिये
हों जब ऐसे चिकने चेहरे
तो कैसे न नज़र फिसले
जिन्द मेरिये
हो, रुत प्यार करन की आई
के बेरियों के बेर पक गये
जिंद मेरिये
कभी डाल इधर भी फेरा
के तक-तक नैन थक गये
जिन्द मेरिये
हो, उस गाँव से सँवर कभी सद्क़े
के जहाँ मेरा यार बसता
जिंद मेरिये
पानी लेने के बहाने आजा
के तेरा मेरा इक रस्ता
जिन्द मेरिये
हो, तुझे चाँद के बहाने देखूँ
तू छत पर आजा गोरिये
जिंद मेरिये
अभी छेड़ेंगे गली के सब लड़के
के चाँद बैरी छिप जाने दे
जिन्द मेरिये
हो, तेरी चाल है नागिन जैसी
रे जोगी तुझे ले जायेंगे
जिंद मेरिये
जायेँ कहीं भी मगर हम सजना
यह दिल तुझे दे जायेंगे
जिन्द मेरिये …
Movie -: Naya Daur (1957)
Singer -: Asha Bhosle - Mohammad Rafi,
Music Director -: O. P. Nayyar,