कुछ लोग ये अफवाह फैला रहे हैं कि अयोध्या में मंदिर के लिए किये जा रहे समतलीकरण में बौद्ध अवशेष मिल रहे हैं। जैसे ये धम्म चक्र।
ये धम्म चक्र नहीं है। ये विष्णु स्तंभ है। धम्म चक्र में सिर्फ चौबीस पंखुड़िया या तीलियां होती हैं जबकि इसमें 29 हैं। धम्म चक्र में दो वृत्त नहीं होता। इसमें दो वृत्त है।
महरौली के ध्रुव स्तंभ (कुतुब मीनार) में भी ये अवशेष देखने को मिलते हैं। मंदिरों में बहुत सामान्य तौर पर इसे बनाया जाता है। अभी जो मंदिर का मॉडल तैयार हो रहा है उसके स्तंभों पर भी बनाया जाएगा।
बुद्ध भारतीय हैं। उनके नाम पर जो निर्माण शैली विकसित हुई है वह भी भारतीय है। इसलिए वैष्णव औप बौद्ध मंदिरों के निर्माण में समानता होना स्वाभाविक है। फिर भी अंतर दिखता है। इसलिए लतफहमी फैलानेवाले सिर्फ माहौल खराब करने की कोशिश कर रहे हैं। जो कि वो हमेशा करते ही रहते हैं।