Nalini Mishra
*भगवान राम के आदर्श आपके जीवन को सुशोभित करे व आपका जीवन राममय बने*।
*रामनवमी की हार्दिक शुभकामनाएँ*।
संजीव जैन
"अच्छी थी, पगडंडी अपनी, सड़कों पर तो, जाम बहुत है!!
फुर्र हो गई फुर्सत, अब तो, सबके पास, काम बहुत है!!
नही बचे, कोई सम्बन्धी, अकड़,ऐंठ,अहसान बहुत है!!
सुविधाओं का ढेर लगा है यार, पर इंसान परेशान बहुत है!!\ud83d\udc9e
" गाँव "
मनोज जैन
दुनियां का सबसे छोटा संविधान अमेरिका का है
केवल 13 पन्नों का
उससे भी छोटा संविधान योगी जी का है केवल दो लाइन का
कायदे में रहोगे तो ही फायदे में रहोगे
Anupama Jain
(owner)
इश्क़ के बदले
तुमसे इश्क़ नही चाहते हम___
बस ताउम्र तुमसे मोहब्बत की
इज़ाज़त माँगते हैं हम....
पायल शर्मा
वैष्णो देवी धाम के लिए निकले तीर्थयात्रियों पर हुए इस्लामिक आतंक'वादी आक्रमण में मारे गए श्रद्धालुओ को नमन करती हूं
शशि यादव
क्या आप लोग वक्फ बोर्ड को हटाने का समर्थन करते हैं
Sanjay khambete
अपने घर में छोटा सा कार्यक्रम करिए उसको सकुशल संपन्न कराने में हवा निकल जाती है.. यहां तो पूरा विश्व आया हुआ है करोड़ों की संख्या में..!
कृपया सहयोग करिए.. आलोचना नहीं..
Mukesh Bansal
मनोचिकित्सक हिदेकी वादा ने "80 वर्षीय दीवार" नामक पुस्तक प्रकाशित की।
जैसे ही यह पुस्तक जारी हुई, इसकी बिक्री 500,000 प्रतियों से अधिक हो गई और यह इस समय की सबसे अधिक बिकने वाली पुस्तक बन गई। यदि यह गति जारी रही, तो इस पुस्तक की बिक्री 1 मिलियन प्रतियों को पार कर जाएगी, जिससे यह इस वर्ष जापान में सबसे अधिक बिकने वाली पुस्तक बन जाएगी।
डॉ. वादा, 61 वर्ष के हैं और बुजुर्गों में मानसिक रोगों के विशेषज्ञ हैं।
उन्होंने 80 वर्षीय लोगों के "सौभाग्यशाली व्यक्ति" बनने के रहस्यों को **"44 वाक्यों"** में संकलित किया, जो इस प्रकार हैं:
1. जब भी छोटी सी ज़रूरत हो तो भी चलते रहें।
2. जब चिड़चिड़ाहट महसूस हो, गहरी सांस लें।
3. शरीर को अकड़न महसूस न हो, इतनी मात्रा में व्यायाम करें।
4. गर्मियों में एयर कंडीशनर का उपयोग करते समय अधिक पानी पिएं।
5. "डायपर" चलने-फिरने की क्षमता बढ़ाने में बहुत सहायक होते हैं।
6. जितना अधिक चबाएंगे, उतना ही शरीर और मस्तिष्क ऊर्जावान रहेगा।
7. याददाश्त की कमी उम्र बढ़ने के कारण नहीं, बल्कि मस्तिष्क के लंबे समय तक उपयोग न करने के कारण होती है।
8. बहुत अधिक दवाएं लेने की कोई आवश्यकता नहीं कुछ व्यायाम करें।
9. रक्तचाप और रक्त शर्करा के स्तर को जानबूझकर कम करने की जरूरत नहीं, साधारण ज़ीवन शैली अपनाएं।
10. अकेले रहना अकेलापन नहीं है, बल्कि आरामदायक समय का आनंद लेना है।
11. आलसी होना कोई शर्म की बात नहीं होनी चाहिए , अपने सामर्थ्य अनुसार कार्य करें।
12. ड्राइविंग लाइसेंस के लिए भुगतान करने की कोई आवश्यकता नहीं (क्योंकि बुजुर्गों के लिए मोटर वाहन चलाना अधिक खतरनाक हो सकता है) इसलिए आटो या टैक्सी का इस्तेमाल करें।
13. केवल वही करें जो आपको पसंद हो, जो नापसंद हो उसे न करें।
14. वृद्धावस्था में भी सभी प्राकृतिक इच्छाएं बनी रहती हैं उन्हें जीने की कोशिश करें।
15. चाहे जो हो, हमेशा घर में ही न रहें सबसे मिलते जुलते रहें।
16. जो मन करे वही खाएं, हल्का मोटापा बिल्कुल ठीक है।
17. हर काम सावधानी से करें।
18. जिन लोगों को आप नापसंद करते हैं, उनसे कम ही संबंध रखें।
19. हर समय टीवी न देखें।
20. बीमारी से अंत तक लड़ने के बजाय, उसके साथ सह-अस्तित्व में रहना ही एक बेहतर विकल्प है।
21. *"जब गाड़ी पहाड़ पर पहुंचेगी, तब रास्ता मिल ही जाएगा"*– यह जादुई मंत्र हमेशा याद रख कर आगे बढ़ें ओर खुश रहें।
22. ताजे फल और सलाद खाएं।
23. नहाने का समय 10 मिनट तक सीमित रखें।
24. यदि नींद नहीं आ रही हो, तो खुद पर ज़ोर न डालें।
25. खुश रहने वाले काम करना मस्तिष्क की सक्रियता बढ़ाने के लिए सबसे अधिक लाभदायक है।
26. जो कहना है, खुलकर कहें, ज्यादा चिंता न करें।
27. जितनी जल्दी हो सके, एक **"पारिवारिक डॉक्टर"** ढूंढ लें।
28. ज्यादा सहनशील न बनें और खुद पर ज़बरदस्ती न करें, **"बुरे बूढ़े आदमी"** बनने में कुछ भी गलत नहीं है।
29. कभी-कभी अपने शब्द बदल लेना भी ठीक है।
30. जीवन के अंतिम चरण में डिमेंशिया ईश्वर का एक उपहार है।
31. सीखना बंद कर देंगे तो आप जल्दी बूढ़े हो जाएंगे।
32. शोहरत की लालसा न करें, जो कुछ भी आपके पास है, वही पर्याप्त है।
33. मासूमियत बुजुर्गों का विशेषाधिकार है।
34. जो चीजें ज्यादा झंझट वाली लगती हैं, वे उतनी ही दिलचस्प होती हैं।
35. धूप सेंकना लोगों को खुश करता है।
36. दूसरों के लिए अच्छा करने वाले कार्य करें।
37. आज को आरामदायक तरीके से जिएं।
38. इच्छाएं ही लंबी उम्र का स्रोत हैं।
39. हमेशा आशावादी रहें।
40. सहजता से सांस लें।
41. जीवन के नियम आपके अपने हाथों में हैं।
42. हर चीज़ को शांत मन से स्वीकार करें।
43. हंसमुख स्वभाव वाले लोग बहुत लोकप्रिय होते हैं।
44. एक मुस्कान सौभाग्य लेकर आती है।
*सभी के साथ साझा करें।*
अनिल जैन
रिश्ते खून से नहीं, बल्कि भरोसे से बनते है और भरोसा वहां टूटता है, जहां अहमियत कम हो जाती है..