आजकल ऐसे ऐसे न्यूज़ फर्जी निकल रहे हैं कि न्यूज़ वालों पर विश्वास करके पोस्ट कर देना... मुसीबत बन रहा है.. और ये तो अच्छा हुआ कि इस "नेपाली का मुंडन करके जयश्रीराम लिखने" वाले न्यूज़ पर मैंने एक भी पोस्ट नहीं डाला था....
अब पता चला है कि वो नेपाली है ही नहीं... और उसने स्वीकार किया कि वो खुद से चलकर मुंडन करवाने और जय श्रीराम लिखवाने गया... क्योंकि इसके बदले में एक हजार मिलना तय हुआ था...इसने सोचा कि lockdown में इस काम के 1000 रुपये बुरे नहीं है....
और इधर पूरे भारत मे इस न्यूज़ से भगदड़ मची हुई थी... लोग कह रहे थे कि नेपाल में मौजूद भारतीयों के ऊपर अटैक होगा... या नेपाली तो अच्छे दोस्त रहे हैं... बददिमाग ओली के वजह से इनके साथ ऐसा क्यों करना ?
खैर, इन राष्ट्रीय स्तर के रिपोर्टरों का भरोसा नहीं रहा...
अब तो न्यूज़ का ग्राउंड रिपोर्ट लेने खुद फेसबुकियों को जाना पड़ेगा....